क्रिप्टोकरेंसी किसी भी वित्तीय प्रणाली के लिए गंभीर खतरा: RBI गवर्नर
नई दिल्ली। भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा है कि क्रिप्टोकरेंसी देश की व्यापक आर्थिक और वित्तीय स्थिरता के लिए गंभीर खतरा पैदा करते हैं। उन्होंने कहा क्रिप्टोकरेंसी पर व्यापार करने वाले निवेशकों की तादाद के साथ उनके दावा किए गए बाजार मूल्य भी संदेह उत्पन्न करते हैं।”
क्रिप्टोकरेंसी को अनुमति देने के खिलाफ अपने विचारों को दोहराते हुए RBI गवर्नर ने कहा कि, “क्रिप्टोकरेंसी किसी भी वित्तीय प्रणाली के लिए गंभीर खतरा हैं क्योंकि वे केंद्रीय बैंकों के नियंत्रण के बाहर हैं।”
RBI गवर्नर ने यह भी कहा कि, “क्रिप्टोकरेंसी व्यापक आर्थिक और वित्तीय स्थिरता के नजरिए से एक गंभीर चिंता का विषय है। सरकार इस मुद्दे पर सक्रियता से विचार कर रही है और इस पर फैसला करेगी, लेकिन केंद्रीय बैंकर के रूप में हमें इसके बारे में गंभीर चिंताएं हैं।”
इन पर ट्रेडिंग करने वाले निवेशकों की बड़ी संख्या पर सवाल उठाते हुए, दास ने कहा, “मैं इन नंबरों की सत्यता के बारे में निश्चित नहीं हूं। हालांकि, मेरा मानना पूरी तरह से सही नहीं हो सकता है, क्योंकि हमें इन मुद्राओं के बारे में पूरी जानकारी नहीं मिलती है।
उन्होंने कहा ऐसा इसलिए है, क्योंकि ये हमारे द्वारा या किसी अन्य केंद्रीय बैंक द्वारा विनियमित नहीं होती हैं। मुझे लगता है कि इसके तहत निवेशकों की संख्या को थोड़ा बढ़ा चढ़ा कर दिखाया जा रहा है क्योंकि लगभग 70 फीसद ऐसे निवेशक हैं, जिन्होंने इसके तहत केवल 1,000 रुपए तक का निवेश किया है।
बता दें कि मार्च 2020 की शुरुआत में सुप्रीम कोर्ट ने क्रिप्टोकरेंसी पर प्रतिबंध लगाने वाले RBI के सर्कुलर को रद्द कर दिया था। इसके बाद 5 फरवरी, 2021 को RBI ने केंद्रीय बैंक की डिजिटल मुद्रा के मॉडल का सुझाव देने के लिए एक आंतरिक पैनल का गठन किया था।