Lok Sabha: राहुल गांधी के ‘हिंदू’ वाले बयान पर हंगामा, पीएम मोदी का पलटवार…
विपक्ष के नेता राहुल गांधी के हिंदुओं पर दिए बयान पर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि राहुल गांधी को सभी हिंदुओं को हिंसक बताने वाले अपने बयानों के लिए माफी मांगनी चाहिए।
लोकसभा में नेता विपक्ष के तौर पर राहुल गांधी के हिंदुओं पर दिए एक बयान ने हंगामा मचा दिया। दरअसल, राहुल ने कहा था जो खुद को हिंदू कहते हैं, वह हिंसा-हिंसा करते हैं। इसे लेकर सदन में जबरदस्त हंगामा हुआ। खुद पीएम मोदी ने राहुल के भाषण के बीच उन्हें टोका और कहा कि पूरे हिंदू समुदाय को हिंसा से जोड़ना ठीक नहीं है। वहीं केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि राहुल गांधी को इस बयान के लिए माफी मांगनी चाहिए। अमित शाह ने लोकसभा में कहा कि करोड़ों लोग हिंदू होने पर गर्व करते हैं, क्या राहुल गांधी सोचते हैं कि वे सभी हिंसक हैं।
पीएम मोदी ने जताई आपत्ति
नेता विपक्ष के बयान पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आपत्ति जताते हुए कहा, “ये विषय बहुत गंभीर है, पूरे हिंदू समाज को हिंसक कहना, ये गंभीर विषय है।” वहीं, कांग्रेस नेता के एक बयान पर पीएम मोदी ने कहा, “लोकतंत्र और संविधान ने मुझे सिखाया है कि मुझे विपक्ष के नेता को गंभीरता से लेना चाहिए।”
क्या बोले थे राहुल गांधी?
राहुल ने भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा कि जो लोग अपने आप को हिंदू कहते हैं वह 24 घंटे हिंसा, हिंसा, हिंसा; नफरत, नफरत, नफरत; असत्य, असत्य, असत्य करते रहते हैं। ये हिंदू हैं ही नहीं। आप हिंदू हो ही नहीं। हिंदू धर्म में साफ लिखा है कि सत्य के साथ खड़े होने चाहिए। सत्य से पीछे नहीं हटना चाहिए। अहिंसा फैलाना चाहिए।
‘जो अपने आप को हिंदू कहते हैं वो 24 घंटे हिंसा करते हैं।’
— BJYM (@BJYM) July 1, 2024
-राहुल गाँधी pic.twitter.com/9AYUEicZBt
इसके बाद राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री मोदी की टिप्पणी पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि बीजेपी और मोदी जी पूरा हिंदू समाज नहीं हैं। राहुल गांधी ने पीएम के आरोपों को खारिज करते हुए कहा, “नरेंद्र मोदी जी पूरा हिंदू समाज नहीं है, बीजेपी पूरा हिंदू समाज नहीं है…RSS पूरा हिंदू समाज नहीं है…”
शाह ने आगे कहा, “मैं उनको एक गुजारिश भी करना चाहता हूं कि इस्लाम में अभयमुद्रा, इस पर इस्लाम के विद्वानों का मत एक बार वो ले लें। गुरुनानक साहब की अभयमुद्रा पर एसजीपीसी का मत वो ले लें। अभय की बात इनको करने का कोई हक नहीं है। आपातकाल में पूरे देश को इन्होंने भयभीत किया है। लाखों लोगों को जेल में डाला गया। वैचारिक आतंक कभी था तो आपका आपतकाल था।”