शुरु होने वाले हैं पितृ पक्ष श्राद्ध? जानें तिथि व महत्व…

Pitru Paksha 2024 Shradha: इस साल पितृपक्ष की शुरुआत 17 सितंबर से हो रही है। मान्यताओं के अनुसार पितर खुश रहें तो सुख-समृद्धि व वंश वृद्धि का आशीष प्राप्त होता है। इस दौरान लोग अपने पूर्वजों की आत्मा की शांति के लिए श्राद्ध तर्पण और पिंडदान करेंगे।

पूर्वजों की शांति के लिए पितृपक्ष के दौरान श्राद्ध कर्म करने का विधान है। धार्मिक दृष्टि से हर साल भाद्रपद महीने के शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा से पितृ पक्ष (Pitru Paksha 2024 Shradha) की शुरुआत होती है, जो आश्विन महीने के कृष्ण पक्ष की अमावस्या तक रहती है। मान्यताओं के अनुसार पितृपक्ष में गया श्राद्ध का विशेष महत्व है। पितरों का प्रसन्न रहना महत्वपूर्ण माना जाता है। पितर खुश रहें तो सुख-समृद्धि व वंश वृद्धि का आशीष प्राप्त होता है। स्वयं भगवान राम और माता सीता गया जी आए थे और पिता महाराज दशरथ को श्राद्ध तर्पण और पिंडदान किया था। आइए जानते हैं सितंबर में कब से कब रहेंगे पितृपक्ष 2024-

कब से शुरू हैं पितृपक्ष 2024? (Pitru Paksha 2024 Shradha)

हिंदू पंचांग के अनुसार, भाद्रपद माह की पूर्णिमा तिथि का आरंभ 17 सितंबर को सुबह 11 बजकर 44 मिनट से शुरू होगा। पूर्णिमा तिथि का समापन 18 सितंबर को सुबह 8 बजकर 4 मिनट पर होगा। पूर्णिमा श्राद्ध 17 सितंबर को किया जाएगा। वहीं प्रतिपदा तिथि की श्राद्ध तिथि 18 सितंबर को पड़ रही है। बता दें कि श्राद्ध पक्ष  प्रतिपदा तिथि से शुरू होता है, इसलिए 18 सितंबर से पिंडदान, तर्पण, ब्राह्मण भोजन और दान जैसे अन्य दूसरे कार्य किए जाएंगे। ऐसे में पितृ पक्ष का आरंभ 18 सितंबर से हो रहा है, जो कि 2 अक्तूबर 2024 तक चलेगा।

18 सितंबर 2024, बुधवार- प्रतिपदा श्राद्ध

19 सितंबर 2024, गुरुवार- द्वितीया श्राद्ध

20 सितंबर 2024, शुक्रवार- तृतीया श्राद्ध

21 सितंबर 2024, शनिवार- चतुर्थी श्राद्ध

22 सितंबर 2024, रविवार- पंचमी श्राद्ध

23 सितंबर 2024, सोमवार- षष्ठी व सप्तमी श्राद्ध

24 सितंबर 2024, मंगलवार- अष्टमी श्राद्ध

25 सितंबर 2024, बुधवार – नवमी श्राद्ध

26 सितंबर 2024, गुरुवार- दशमी श्राद्ध

27 सितंबर 2024, शुक्रवार- एकादशी श्राद्ध

29 सितंबर 2024, शनिवार- द्वादशी श्राद्ध

30 सितंबर 2024, रविवार- त्रयोदशी श्राद्ध

1 अक्टूबर 2024, सोमवार- चतुर्दशी श्राद्ध

2 अक्टूबर 2024, मंलगवार- सर्व पितृ अमावस्या श्राद्ध

पितृ पक्ष का महत्व

पितृ पक्ष के दिन अपने पूर्वजों और पितरों के लिए तर्पण और श्राद्ध दान करने का विशेष महत्व है। ऐसा माना जाता है कि इस दिन मृत्यु लोक से पितृ धरती लोक पर आते हैं। इसलिए पितृपक्ष के दौरान तर्पण और श्राद्ध करने से पितरों को खुश किया जा सकता है और उनका आशीर्वाद पाया जा सकता है। पितृ पक्ष में तिथियों के अनुसार, पितरों का श्राद्ध करना शुभ माना जाता है। पितृ दोष से मुक्ति पाने और पितरों की शांति के लिए पितृपक्ष पर दान और ब्राह्मणों को भोजन कराने का विधान है।

डिस्क्लेमर: इस आलेख में दी गई जानकारियों पर हम यह दावा नहीं करते कि ये पूर्णतया सत्य एवं सटीक हैं। विस्तृत और अधिक जानकारी के लिए संबंधित क्षेत्र के विशेषज्ञ की सलाह जरूर लें

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