PM मोदी का कमाल, 9 साल में लगभग 25 करोड़ गरीबी रेखा से बाहर

News Update: प्रधानमंत्री मोदी के कार्यकाल में लगभग 25 करोड़ भारतीय बहुआयामी गरीबी से बाहर निकले है। इसकी रिपोर्ट नीति आयोग ने 15 जनवरी को जारी की है। इस रिपोर्ट के अनुसार उत्तर प्रदेश, बिहार, मध्यप्रदेश और राजस्थान में सबसे ज्यादा सुधार देखने को मिला है। 

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प्रधानमंत्री मोदी के पिछले 9 साल के कार्यकाल में 24.82 करोड़ लोग गरीबी रेखा से बाहर निकले है। यह रिपोर्ट नीति आयोग के सदस्य प्रोफेसर रमेशचंद्र ने नीति आयोग के अध्यक्ष सुब्रमण्यम की मौजूदगी में 15 जनवरी को जारी की है। रिपोर्ट के मुताबिक, साल 2013-14 से 2022-23 के बीच 24 करोड़ 82 लाख लोग गरीबी रेखा से बाहर निकले हैं। बहुआयामी गरीबी साल 2013-14 में 29.17% थी, जिसमें 17.89% की गिरावट के साथ साल 2022-23 में 11.28% घटकर रह गई है। इनमें प्रभावशाली राज्य उत्तर प्रदेश, बिहार, राजस्थान और मध्यप्रदेश है।

प्रमुख योजनाओं से मिला लाभ

पिछले कुछ सालों में सरकार ने गरीबी उन्मूलन कार्यक्रम के तहत कई सारी योजनाएं चलाई है, जिसके चलते लगभग 25 करोड़ लोग गरीबी रेखा से बाहर आए है।  इनमें प्रधानमंत्री आवास योजना, जनधन खाते खुलवाए गए, कोरोना काल के दौरान 82 करोड़ लोगों को मुफ्त राशन वितरित किया गया। साथ ही किसान सम्मान निधि, जल जीवन मिशन, स्वच्छ भारत मिशन, प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना शामिल हैं।

चार राज्यों  में ज्यादा सुधार

रिपोर्ट के मुताबिक सबसे ज्यादा गरीबी में 17.89% की रिकॉर्ड गिरावट आई है। पिछले नौ सालों में उत्तर प्रदेश से लगभग 5.94 करोड़ लोग बहुआयामी गरीबी से बाहर आए है। वहीं बिहार में 3.77 करोड़, मध्यप्रदेश 2.30 करोड़ और राजस्थान में 1.87 करोड़ लोग गरीबी रेखा से बाहर आए है। 

नीति आयोग इस रिपोर्ट के मुताबिक, 2015-16 से 2019-21 के बीच 10.66 प्रतिशत की तेजी से लोग गरीबी से बाहर आए थे। वही साल 2005-06 से 2015-16 के बीच गरीबी से बाहर आने की दर 7.69% थी।

मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने सोशल मीडिया पर लिखा कि गरीब कल्याण भाजपा सरकार का प्रण है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में अंत्योदय के दर्शन और सुशासन के मंत्र से अनुप्राणित भाजपा सरकार ने जनकल्याण तथा विकास के नए कीर्तिमान स्थापित किए हैं।

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