विवादित सीन देखने के बाद ही होगा ‘जयेशभाई जोरदार’ की किस्मत का फैसला

film Jayeshbhai Jordaar poster

नई दिल्ली। दिल्ली हाई कोर्ट ने रणवीर सिंह स्टारर फिल्म ‘जयेशभाई जोरदार’ के प्रोड्यूसर्स से कहा है कि उन्हें गर्भ में पल रहे बच्चे के लिंक की जांच जैसे अवैध मुद्दे को इस तरह हल्के में नहीं लेना चाहिए।

कोर्ट ने कहा कि इस तरह की प्रथाओं को फिल्म में ऐसे नहीं दिखाया जा सकता कि वो एक नियमित अभ्यास हैं। ट्रेलर रिलीज होने के बाद से ही फिल्म विवादों में है। इसके भ्रूण के लिंग निर्धारण वाले सीन को लेकर मामला कोर्ट में है।

पहले कोर्ट देखेगी वो विवादित सीन

फिल्म में रणवीर सिंह लीड रोल प्ले कर रहे हैं और शालिनी पांडे उनके अपोजिट काम करती नजर आएंगी। फिल्म में बोमन ईरानी और रत्ना पाठक शाह ने भी अहम किरदार निभाए हैं।

सोमवार को कोर्ट ने फिल्म के उस विवादित सीन को लेकर दायर की गई याचिका पर सुनवाई की और यश राज फिल्म्स के प्रोड्यूसर्स को उस विवादित सीन को दिखाए जाने के आदेश दिए।

कोर्ट ने यह भी कहा कि इस सीन को फिल्म में चलाए जाने की इजाजत नहीं दी जा सकती जब तक कि इसका कॉन्टैक्स्ट नहीं देखा जाएगा।

बता दें रणवीर सिंह और शालिनी पांडे की फिल्म ‘जयेशभाई जोरदार’ का ट्रेलर रिलीज किए जाने के बाद से इस पर हंगामा मचा हुआ है और अब देखना ये होगा कि कोर्ट इस मामले में क्या फैसला सुनाता है।

क्या है इस सीन की वैल्यू?

फिल्म में गुजरात के एक ऐसे परिवार की कहानी दिखाई गई है जिसमें पति-पत्नी तो अपने बच्चे को किसी भी लिंग का होने पर स्वीकार करने को तैयार हैं लेकिन उनके माता-पिता को हर हाल में बहू से लड़का ही चाहिए। कहानी के मुताबिक वो लड़की होने पर उसकी हत्या करने का प्लान बना रहे हैं।

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