US Iran Conflict: ड्रोन हमले में 3 अमेरिकी सैनिक की मौत, बाइडेन ने दी बदले की धमकी

Jordan Drone Attack: अमेरिका और ईरान के बीच एक बार तल्खियां बढ़ गई हैं। इसकी एक बड़ी वजह बीती रात जॉर्डन में अमेरिकी सैनिकों पर ईरान समर्थित समूहों द्वारा किया गया ड्रोन हमला है। इस हमले में अमेरिका के तीन सैनिकों को अपनी जान गंवानी पड़ी जिसके बाद अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने जॉर्डन में हुए हमले का बदला लेने की बात कही है।

इमेज क्रेडिट: सोशल मीडिया

सीरिया में जॉर्डन सीमा के पास एक अमेरिकी सैन्‍य अड्डे पर ड्रोन हमले में 3 अमेरिकी सैनिकों की मौत हो गई, जबकि 25 घायल हो गए. अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने कहा, ‘आज, अमेरिका का दिल भारी है’. सैनिकों का ‘अंतिम बलिदान हमारा देश कभी नहीं भूलेगा.’ इसके साथ ही उन्होंने कहा, ‘और इसमें कोई संदेह नहीं है- हम उन सभी जिम्मेदार लोगों को एक समय और अपनी इच्छानुसार तरीके से जवाबदेह ठहराएंगे.’

इससे पहले अमेरिका ने बताया था कि यह हमला जॉर्डन में हुआ. हालांकि जॉर्डन सरकार ने इस खबरों को खारिज करते हुए बताया कि ड्रोन हमले वाली जगह उसके सीमा क्षेत्र में नहीं पड़ती. जॉर्डन सरकार के प्रवक्ता मुहन्नद मुबैदीन ने कहा, ‘अमेरिकी सेना को निशाना बनाकर किया गया हमला जॉर्डन में नहीं हुआ… इसने सीरिया में अल-तनफ अड्डे को निशाना बनाया, जहां अमेरिकी सेना एक अंतरराष्ट्रीय जिहादी विरोधी गठबंधन के हिस्से के रूप में तैनात है.’

हमास-इजरायल जंग में अमेरिकी सैनिकों की पहली मौत
अक्टूबर को हमास-इज़रायल युद्ध शुरू होने के बाद से सीरियाई सीमा के पास बेस में अमेरिकी सैन्यकर्मियों की पहली बार मौत हुई है. हालांकि, इस बात की अलग-अलग रिपोर्टें थीं कि हमला वास्तव में कहां हुआ था-जॉर्डन में या सीरिया में. उधर बाइडेन का कहना है कि हालांकि तथ्य अभी भी जुटाए जा रहे हैं, यह हमला सीरिया और इराक में सक्रिय ईरान समर्थित सैन्य समूहों द्वारा किया गया था.

ईरान के खिलाफ जवाबी कार्रवाई
मध्य पूर्व के कई हिस्सों में बढ़ती हिंसा ने सीधे तौर पर ईरान से जुड़े एक व्यापक क्षेत्रीय संघर्ष की आशंका बढ़ा दी है. इस ताजा हमले के बाद कई रिपब्लिकन नेताओं ने राष्ट्रपति बाइडेन से ईरान के खिलाफ जवाबी कार्रवाई करने का आह्वान किया. रिपब्लिकन सीनेटर लिंडसे ग्राहम ने एक्स पर लिखा, ‘अब ईरान पर प्रहार करो. उन्हें ज़ोर से मारो.’ ग्राहम ने बाइडन प्रसासन की चेतावनियों को ईरान द्वारा नजरअंदाज किए जाने का जिक्र करते हुए कहा, ‘जब बाइडन प्रशासन कहता है कि ‘मत’ करो, तो ईरानी वहीं करते हैं.’

उल्लेखनीय है कि सात अक्टूबर को इजरायल और हमास के बीच संघर्ष शुरू होने के बाद से सीरिया और इराक (Syria and Iraq) में अमेरिकी सैनिकों पर अक्सर हमले हो रहे हैं। क्षेत्र में ईरान समर्थित मिलिशिया के खिलाफ अमेरिका के जवाबी हमले अब तक उन्हें रोकने में विफल रहे हैं, जिसकी परिणति पहली बार हमलों में अमेरिकी सैनिकों की मौत के रूप में सामने आयी है।

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