त्योहारी सीजन में घूमने निकलना चाहते हैं 46 फीसदी लोग: सर्वे
नई दिल्ली। कोरोना महामारी से बेपटरी हुई जिंदगी फिर से अपनी पुरानी रौ में लौटती नज आ रही है। कोरोना की दूसरी लहर का सबसे ज्यादा असर पर्यटन उद्योग पर पड़ा था। इस दौरान अपने घरों में कैद हुए लोग पुनः एकबार यात्राओं पर निकल चाह रहे हैं।
वेडिंग एनिवर्सरी हो या फिर हनीमून की प्लानिंग, लोग एक बार फिर से सैर के लिए निकलना चाह रहे हैं। देश में कोरोना के कम होते केस और वैक्सीनेशन के बाद आने वाले त्योहारी सीजन में 46 फीसदी लोग पर्यटक स्थलों पर घूमने का मन रहे हैं।
जबकि पिछले वर्ष कोरोना की पहली लहर के बाद के केवल 19 फीसदी ही लोग बाहर घूमने का प्लान बना रहे थे। यह सर्वे मशहूर कंपनी लोकल सर्किल्स ने किया है।
सर्वे में सामने आया है कि मानसून, गणेश उत्सव और रक्षाबंधन के दौरान 28 फीसदी लोग अपने शहर से बाहर घूमने का मन बना रहे थे। जबकि दशहरा और दीपावली के त्योहार के सीजन में 46 फीसदी लोग पर्यटक स्थलों पर घूमने जाना चाहते हैं।
वहीं 34 फीसदी लोग इस त्योहारी सीजन की छुट्टियां अपने परिवार और दोस्तों के साथ बिताना चाहते हैं। जबकि 28 फीसदी लोग घर परिवार से दूर पर्यटक स्थलों पर छुट्टियां बिताना ज्यादा पसंद कर रहे हैं।
सर्वे में ये भी सामने आया कि कोरोना की तीसरी लहर की आशंका अभी भी लोगों के मन में है। इसके अलावा यह भी डर बना हुआ है कि अगर वे घूमने के लिए एडवांस में टिकट और होटल की बुकिंग करवा लेते हैं और राज्य सरकारों ने लॉकडाउन घोषित कर दिया तो उनके पैसे फंस सकते हैं।
ऐसी स्थिति में 40 फीसदी लोगों ने अभी तक अपनी बुकिंग नहीं करवाई है। जबकि महज छह फीसदी लोगों ने ही बाहर जाने के लिए टिकट सहित ठहरने के लिए होटल की बुकिंग भी करवा ली है।
कोरोना प्रोटोकाल का करें पालन
लोकल सर्किल्स के फाउंडर चैयरमैन सचिन तापड़िया ने कहा, कोरोना की पहली लहर के बाद जब हमारी संस्था ने सर्वे किया था, तब भी लोग बाहर घूमने को लेकर बेहद उत्साहित थे और ट्रैवल करना चाहते थे।
हालिया सर्वे में यह सामने आया कि लोग बाहर ज्यादा ट्रैवल करना चाहते हैं। हम लोगों से यही गुजारिश करते हैं कि वह कोविड प्रोटोकाल का पालन करते हुए और टीकाकरण के बाद ही सफर करें, जिससे कोरोना संक्रमण से बचा जा सके।